Bihar : राज्यपाल से सम्मानित सीवान DEO के पास पटना से नोएडा तक पांच फ्लैट, सात जगह जमीन; निगरानी जांच में अबतक दो करोड़ का हिसाब
पटना से रमेश कुमार की रपट भोपाल से राधावल्लभ शारदा के द्वारा संपादित
राज्यपाल से सम्मानित,राजद कोटे के मंत्री प्रो. चंद्रशेखर और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की प्रशंसा पा चुके सीनियर आईएएस केके पाठक का शिक्षा विभाग अब दूसरे कारण से चर्चा में है। विभाग के एक जिला स्तरीय अधिकारी के घर-दफ्तर पर निगरानी की टीम पहुंची। रेड के दौरान जो खुलासे हुए, वह चौंकाने वाले थे ।
शिक्षा विभाग के अफसरों पर अबतक ऐसी कार्रवाई कम देखने को मिली है। सीवान के जिला शिक्षा पदाधिकारी मिथिलेश कुमार के दफ्तर और सीवान स्थित आवास के साथ पटना में उनके मकान पर निगरानी की टीम ने जांच पड़ताल की। जांच के दौरान जिला शिक्षा पदाधिकारी के संपत्ति को लेकर जो खुलासे हुए, वह चौंकाने वाले थे। निगरानी विभाग की ओर से कहा गया है कि सीवान का शिक्षा पदाधिकारी करोड़ों रुपए के चल अचल संपत्ति का मालिक है। शुक्रवार सुबह से शाम तक चली रेड से पता चला कि उन्होंने अपने पद पर रहते हुए भ्रष्टाचार किया और अवैध संपत्ति बनाई। चौकाने वाली बात यह है कि यह वहीं शिक्षा पदाधिकारी हैं, जिन्हे इसी वर्ष अप्रैल माह में राज्यपाल द्वारा सम्मानित किया गया था।
निगरानी की ओर से कहा गया है जिला शिक्षा पदाधिकारी, सीवान के विरूद्ध लगभग 87,08,054 रुपया का प्रत्यानुपातिक धनार्जन का कांड दर्ज कर अनुसंधान किया जा रहा है। अनुसंधान के कम में न्यायालय से प्राप्त सर्च वारंट के आलोक में निगरानी अन्वेषण ब्यूरो, पटना के तलाशी दल द्वारा 8 दिसंबर को कांड के प्राथमिकी अभियुक्त मिथिलेश कुमार के पटना स्थित दो परिसर एवं सिवान स्थित आवास कार्यालय की तलाशी ली गई। इस दौरान कार्यालय से कुल 2,22,500 रुपये बरामद किए गए। वहीं सीवान स्थित आवास की तलाशी के क्रम में कुल 11,85,000 बरामद किए गए। यानी कुल 14 लाख कैश बरामद हुए। वही पटना स्थित आवास की तलाशी के क्रम में दो लाख कैश बरामद हुए।
पटना से नोएडा तक फ्लैट और जमीन
निगरानी की ओर से कहा गया है कि जांच के क्रम में पता चला कि जिला शिक्षा पदाधिकारी ने पटना से नोएडा तक पांच फ्लैट और सात जगह जमीन खरीदी है। उन्होंने ग्रेटर नोएडा में चार फ्लैट, पटना में एक फ्लैट, औरंगाबाद में पांच जगह जमीन और पटना दो जगह जमीन की भी खरीदारी की। इनका मूल्य करीब 2 करोड़ रुपए अनुमानित है। साथ ही सात बैंक खातों में 28,88,214 रुपये भी जमा मिले। मामले में आगे की कार्रवाई चल रही है।
