Breaking News

प्रभुश्री राम का जीवन संपूर्ण मानव जीवन के लिए सदैव अनुकरणीयः श्री तोमर*

*प्रभुश्री राम का जीवन संपूर्ण मानव जीवन के लिए सदैव अनुकरणीयः श्री तोमर*

भोपाल, मध्यप्रदेश विधानसभा के अध्यक्ष श्री नरेंद्र सिंह तोमर रविवार को राजधानी में आयोजित भुवन भूषण देवलिया स्मृति व्याख्यानमाला में मुख्य अतिथि के रूप में सम्मिलित हुए। इस अवसर पर उन्होंने वरिष्ठ पत्रकार श्री प्रमोद भार्गव को देवलिया सम्मान से सम्मानित किया।
व्याख्यान माला में इस वर्ष विमर्श का विषय “ राम,राजनीति और पत्रकारिता” था। अपने व्याख्यान में विधानसभा अध्यक्ष श्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि श्री राम पर जब भी चर्चा या विचार करेंगे तो शब्द कम ही पड़ेंगे, क्योंकि श्री राम तो सर्वस्थ और सर्वज्ञ हैं। भगवान श्री राम को मर्यादा पुरुषोत्तम कहा गया है, यह जो एक शब्द है, यही अनुकरणीय है।
श्री तोमर ने कहा कि प्रभु श्री राम ने अपने जीवन में वही आदर्श स्थापित किए जिनका अनुसरण एक मनुष्य को अपने जीवन में करना चाहिए, या जिन्हें अपनाना चाहिए। भगवान श्री राम के जीवन के 14 वर्ष के वनवास काल के कालखण्ड का हर घटना क्रम जीवन का एक बड़ा संदेश देता है। इसमें मर्यादा भी है, तप भी है, समता भी है और ममता भी है। भगवान का शबरी के आश्रम में जा कर उनके झूठे बेर खाने के प्रसंग में भी एक बड़ा संदेश छिपा हुआ है, एसे ही रावण से युद्ध तो करना लेकिन उससे पहले रामेश्वरम में भगवान श्री शिव की स्थापना में मुख्य पुरोहित के रूप में आमंत्रित करने के प्रसंग में भी एक बड़ा संदेश निहित है। इसी प्रकार रावण के अंतिम समय भी उससे क्या ज्ञान प्राप्त किया जा सकता है यह स्थापित करना और प्रतिकूल परिस्थितियों में दृढ़ प्रतिज्ञ रहकर अपने उद्देश्य की ओर आगे बढ़ने का संदेश भी भगवान श्री राम ने दिया है। श्री तोमर ने कहा कि यदि हम देखे तो प्रभुश्री राम का पूरा जीवन अनुकरण से परिपूर्ण है, क्या संतान के रूप में भूमिका होनी चाहिए, कैसे दायित्व होना चाहिए, कैसी नीति होना चाहिए यह सब उन्होंने अपने कृतित्व और व्यक्तिव से भगवान श्री राम ने दिखाया है।

इस अवसर पर विधानसभा अध्यक्ष श्री तोमर ने कहा कि क्षेत्र कोई भी हो, लेकिन वह क्षेत्र स्वच्छ रहे, समृद्ध रहे और उस क्षेत्र के प्रति भविष्य की पीढ़ियां भी आकर्षित हों इसके लिए हर क्षेत्र को प्रोत्साहन की आवश्यकता होती है। प्रत्येक क्षेत्र को समृद्ध बनाने के लिए उससे जुड़े प्रबुद्ध एवं योग्य वर्ग के योगदान एवं प्रोत्साहन की सदैव आवश्यकता होती है। माधव राव सप्रे संग्रहालय एवं श्री विजयदत्त श्रीधर भिन्न−भिन्न समय पर भिन्न−भिन्न कार्यक्रमों के माध्यम से पत्रकारिता, साहित्य एवं लेखन के क्षेत्र में प्रोत्साहन के लिए प्रयास करते रहते हैं।
उन्होंने कहा कि भूवन भूषण जी आज हम सभी के मध्य नहीं है, लेकिन पत्रकारिता क्षेत्र के जीवन में स्थापित किया गया आदर्श पत्रकारिता के साथ ही दूसरे क्षेत्र में भी कार्य करने वालाें के लिए अनुकरणीय है। भूवन भूषण जी शरीर से हम सभी के मध्य नहीं है लेकिन उनके विचार, उनके जीवन दर्शन, उनकी कार्य पद्धति, उनका लेखन हम सभी के मार्गदर्शन के लिए मौजूद है। भूवन भूषण जी से प्रेरणा लेकर हम सभी पत्रकारिता को ध्येय निष्ठ और स्वच्छ बना सकते हैं।
श्री तोमर ने श्री भार्गव को बधाई देते हुए कहा कि लेखन,पत्रकारिता, साहित्य के क्षेत्र में पूरे देश में श्री प्रमोद भार्गव ने अपना एक विशिष्ट स्थान बनाया है। भार्गव जी ग्वालियर−चंबल अंचल के शिवपुरी से हैं एवं उनसे मेरे संबंध युवावस्था से हैं।
इस अवसर पर माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्चविद्यालय के कुलगुरू प्रो. के.जी. सुरेश, माधवराव सप्रे संग्रहालय के संस्थापक निदेशक पद्मश्री विजयदत्त श्रीधर, वरिष्ठ पत्रकार एवं स्वदेश के प्रधान संपादक श्री राजेंद्र शर्मा, वरिष्ठ पत्रकार श्री प्रमोद भार्गव, श्री शिवकुमार विवेक एवं प्रबुद्धजन उपस्थित थे।

About Mahadand News

Check Also

पत्रकारों की समस्यायों से मुख्यमंत्रीजी को अवगत कराने का आश्वासन मिला

पत्रकारों की समस्यायों से मुख्यमंत्रीजी को अवगत कराने का आश्वासन मिला भाजपा मिडिया प्रभारी अग्रवाल …